छत्तीसगढ़ में विस्फोटक इकाई में धमाके के बाद आठ श्रमिक लापता

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पिरदा। छत्तीसगढ़ में बेमेतरा जिले के पिरदा में शनिवार को विस्फोटक सामग्री बनाने वाले एक कारखाने में धमाके के बाद कम से कम आठ कर्मचारी लापता बताए जा रहे हैं। अधिकारियों ने यह जानकारी दी। पिरदा में विस्फोट स्थल के पास रविवार को तनावपूर्ण स्थिति बनी रही जहां उन लोगों ने प्रदर्शन किया जिनके रिश्तेदार घटना के बाद से लापता हैं। शनिवार को बेरला विकास खंड के पिरदा गांव के पास स्पेशल ब्लास्ट लिमिटेड नामक इकाई में हुए धमाके में कम से कम एक व्यक्ति की मौत हो गई और छह अन्य घायल हो गए। बचाव दल को घटनास्थल पर मानव शरीर के अंग भी मिले हैं। अधिकारियों ने कहा था कि विस्फोट की तीव्रता इतनी थी कि इससे लगभग 30 फुट गहरा गड्ढा हो गया। बेमेतरा के पुलिस अधीक्षक रामकृष्ण साहू ने पीटीआई-भाषा से कहा, ”आठ श्रमिकों के परिजनों ने पुलिस में शिकायत दर्ज कराई है कि वे कारखाने में विस्फोट के बाद से लापता हैं।

उन्होंने कहा कि विस्फोट स्थल पर मलबे से मानव शरीर के अंग बरामद हुए हैं और बचाव अभियान खत्म हो गया है। साहू ने कहा, “विस्फोट में लोगों के शरीर के टुकड़े-टुकड़े हो गए और उनकी पहचान के लिए डीएनए जांच की जाएगी।” बेमेतरा के जिलाधिकारी रणबीर शर्मा ने कहा कि कारखाना प्रबंधन को आठ लापता श्रमिकों के परिजनों को 10-10 लाख रुपये का मुआवजा देने का निर्देश दिया गया है और उन्हें (कारखाना प्रबंधन द्वारा) तुरंत पांच-पांच लाख रुपये का चेक दिया जा रहा है। उन्होंने कहा, “राष्ट्रीय आपदा मोचन बल (एनडीआरएफ), राज्य आपदा मोचन बल (एसडीआरएफ), पुलिस और जिला प्रशासन के कर्मियों का बचाव अभियान खत्म हो गया है तथा व्यक्तियों की पहचान के लिए शरीर के अंगों के नमूने डीएनए जांच के लिए भेजे जाएंगे।” जिलाधिकारी ने बताया कि बचाव अभियान में सहायता के लिए रविवार को सेना के जबलपुर स्थित आयुध कारखाने के विशेषज्ञों से संपर्क किया गया।

शर्मा ने कहा कि राज्य सरकार द्वारा घोषित मुआवजा शरीर के अंगों की डीएनए जांच पूरी होने के बाद दिया जाएगा। उन्होंने कहा कि घटना की मजिस्ट्रेट जांच के आदेश दे दिए गए हैं और जांच के बाद दोषी पाए जाने वालों के खिलाफ आगे की कार्रवाई की जाएगी। बोरसी, पिरदा और आसपास के अन्य गांवों के लोगों ने कारखाने के सामने तंबू लगा लिया है और प्रदर्शन कर रहे हैं। तनावपूर्ण स्थिति को देखते हुए कारखाना परिसर के आसपास पुलिसकर्मी तैनात हैं। कुछ प्रत्यक्षदर्शियों ने स्थानीय समाचार चैनलों को बताया कि विस्फोट के समय कारखाने में कम से कम 100 लोग काम कर रहे थे। उन्होंने दावा किया कि कई लोग लापता हैं और उनके मलबे में फंसे होने की आशंका है। राज्य सरकार ने मृतकों के परिजनों को पाच-पांच लाख रुपये और घायलों को पचास-पचास हजार रुपये की वित्तीय सहायता की घोषणा की है।

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