छत्तीसगढ़ के मुख्यमंत्री भूपेश बघेल ने प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) के अधिकारियों को ललकारते हुए कहा कि अगर उनमें हम्मित हैं तो वह भाजपा शासित राज्यों और उनके नेताओं के यहां छापा मारकर और कार्यवाही कर दिखाए। सीएम बघेल ने यहां कांग्रेस अध्यक्ष सोनिया गांधी के पूछताछ के लिए तलब किए जाने के विरोध में प्रदेश कांग्रेस द्वारा आहूत सभा को सम्बोधित करते हुए कहा कि बीमार होने के बावजूद सोनिया जी को पूछताछ के लिए तलब किया गया।वह उन राजीव गांधी की विधवा हैं जिन्होंने प्रधानमंत्री रहते स्वं अटलबिहारी वाजपेयी को इलाज कराने के लिए प्रतिनिधिमंडल का नेता बनाकर अमरीका भेजा था। एक संस्कार वह था, एक संस्कार यह हैं।
उन्होंने कहा कि महाराष्ट्र में अब भाजपा की सरकार बन गई वहां अब ईडी का कार्यालय निष्क्रिय हो गया, अब उसके निशाने पर कांग्रेस और गैर भाजपा शासित वह राज्य जिन्हें अस्थिर करने का निर्देश मिलेगा, वहां पूरी सक्रियता से जुट जाएंगे। उन्होने कहा कि ईडी और अन्य एजेन्सियों के अधिकारियों से वह पूछना चाहते है कि जमीर नाम की चीज उनके पास है कि नही। क्या उनका दायित्व सरकार गिराना और सरकार बनाना, विपक्षी नेताओं को परेशान करना रह गया है। क्या उन्होने इसी बात की शपथ ली हैं।
उन्होंने ललकारते हुए कहा कि ईडी अधिकारियों में अगर दम है तो पनामा पेपर मामले में पूर्व मुख्यमंत्री के बेटे का नाम आया है और नान घोटाले में पूर्व मुख्यमंत्री एवं उनकी पत्नी का नाम है और बहुत बड़ी रकम की मनी लाड्रिंग हुई है, छापा मारकर और पूछताछ करके दिखाए। उन्होंने कहा कि महज 90 करोड़ रुपये जोकि कांग्रेस ने बकायदे चेक से नेशनल हेराल्ड को दिया, उसमें उन सोनिया गांधी से पूछताछ हो रही है जिन्होंने दो दो बार प्रधानमंत्री पद को ठुकराया तो फिर भाजपा नेताओं से क्यों नही।
सीएम बघेल ने कहा कि डा.रमन सिंह के 15 वर्ष के कार्यकाल में चिटफंड कम्पनियों ने छत्तीसगढ़ के गरीबों को लालच देकर उनका छह हजार करोड़ रूपया लूट लिया, पूरी कोशिश कर वह भी तक 40 करोड़ रुपया जमाकर्ताओं को वापस करा सके है। इतनी बड़ी खुली लूट करने वाले लोगो और कम्पनियों पर ईडी और अन्य एजेन्सियां क्यों चुप रहती है। उऩ्होने कहा कि हमारे नेताओं को परेशान करने उन्हे डराने की कोई कोशिश कामयाब नही होने वाली है। हम सभी कांग्रेस के लाखो लाख कार्यकर्ता इस तरह की कोशिशों से डरने वाले नही है।